बिलासपुर में धर्मांतरण को लेकर बवाल, दो समुदाय आमने-सामने.. थाने तक पहुंचा मामला

बिलासपुर। छत्तीसगढ़ के बिलासपुर जिले में एक बार फिर धर्मांतरण को लेकर विवाद खड़ा हो गया है। तोरवा थाना क्षेत्र के केवटपारा इलाके में रविवार को एक प्रार्थना सभा के दौरान कथित धर्मांतरण के आरोप ने माहौल को गरमा दिया। एक तरफ जहां हिंदू संगठनों ने ईसाई समुदाय पर धर्मांतरण कराने का आरोप लगाया, वहीं ईसाई समुदाय ने हिंदू संगठन के कार्यकर्ताओं पर घर में घुसकर तोड़फोड़, मारपीट और पथराव का गंभीर आरोप लगाया है। फिलहाल पुलिस ने दोनों पक्षों की शिकायत लेकर मामले की जांच शुरू कर दी है।
क्या है पूरा मामला?
रविवार की सुबह तोरवा थाना क्षेत्र के केवटपारा मोहल्ले में स्थित एक घर में ईसाई समुदाय के लोग प्रार्थना सभा कर रहे थे। तभी हिंदू संगठनों से जुड़े कुछ लोग वहां पहुंचे और आरोप लगाया कि सभा की आड़ में धर्मांतरण कराया जा रहा है। इस विरोध के बाद मामला तेजी से फैल गया और देखते ही देखते लगभग 500 लोग थाने पहुंचकर नारेबाजी करने लगे।
वहीं दूसरी ओर, ईसाई समुदाय के लोग भी थाने पहुंचे और आरोप लगाया कि उनके शांतिपूर्ण कार्यक्रम में जबरन घुसकर कुछ लोगों ने तोड़फोड़ की, मारपीट की और घर पर पथराव भी किया। ईसाई समुदाय ने इसे धार्मिक स्वतंत्रता में हस्तक्षेप बताते हुए कार्रवाई की मांग की है।
पुलिस ने संभाला मोर्चा
घटना की जानकारी मिलते ही तोरवा थाना पुलिस सक्रिय हो गई। स्थिति की गंभीरता को देखते हुए थाने और आसपास के इलाके में बड़ी संख्या में पुलिस बल तैनात किया गया। माहौल तनावपूर्ण बना रहा, लेकिन पुलिस अधिकारियों की सतर्कता के चलते किसी प्रकार की बड़ी अप्रिय घटना नहीं हुई।
एएसपी राजेंद्र जायसवाल ने बताया कि, “केवटपारा में एक समुदाय विशेष द्वारा घर में प्रार्थना सभा का आयोजन किया गया था। उसी दौरान दूसरे समुदाय के लोग वहां पहुंचे, जिससे दोनों पक्षों में वाद-विवाद हुआ। दोनों पक्षों की शिकायतें पुलिस को प्राप्त हुई हैं और जांच प्रारंभ कर दी गई है। जांच के बाद जो भी तथ्य सामने आएंगे, उसके आधार पर कानूनी कार्रवाई की जाएगी।”
धार्मिक तनाव को लेकर बढ़ती घटनाएं
बिलासपुर में यह पहली बार नहीं है जब धर्मांतरण को लेकर विवाद हुआ हो। इससे पहले भी कई बार इस तरह के आरोपों और विरोध-प्रदर्शनों ने तूल पकड़ा है। धार्मिक गतिविधियों और उनके उद्देश्य को लेकर शहर में संवेदनशीलता बनी हुई है, जिसे लेकर प्रशासन अब अतिरिक्त सतर्कता बरत रहा है।