Parliament Monsoon Session Live: ‘मेंटल बैलेंस’ बयान पर बवाल! जेपी नड्डा के बयान से भड़के मल्लिकार्जुन खड़गे… सदन में हंगामा

नई दिल्ली। संसद के मानसून सत्र के दौरान ऑपरेशन सिंदूर को लेकर मंगलवार को राज्यसभा में जोरदार बहस हुई। विपक्ष के नेता और कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने सरकार को घेरते हुए कहा कि बीजेपी सरकार के कार्यकाल में पहलगाम पर 5 बार आतंकी हमले हुए। उन्होंने सवाल उठाया कि इसके लिए जिम्मेदारी कौन लेगा?
खड़गे ने साधा निशाना
खड़गे ने कहा, “गृहमंत्री अमित शाह बताएं कि इसके लिए कौन जिम्मेदार है? अगर नहीं तो प्रधानमंत्री खुद सदन में जवाब दें। पहलगाम हमले को 100 दिन हो गए, 3 आतंकी तो मारे गए लेकिन बाकी कहां हैं? उन्हें ढूंढने में देरी क्यों हो रही है?”
उन्होंने सीजफायर के मुद्दे पर भी सरकार पर सवाल खड़े किए और कहा कि “अमेरिकी प्रेसिडेंट ट्रम्प 29 बार कह चुके हैं कि उन्होंने सीजफायर कराया। प्रधानमंत्री मोदी ने इसका विरोध क्यों नहीं किया?”
रक्षा मंत्री ने दिया जवाब
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने सरकार का पक्ष रखते हुए कहा, “हमारे सुरक्षा बलों ने 22 अप्रैल को पहलगाम में 26 लोगों की हत्या करने वाले द रेजिस्टेंस फ्रंट (TRF) के तीन आतंकियों को मार गिराया है। भारत की आंतरिक और बाहरी सुरक्षा सुनिश्चित करने में हमारी सेनाओं की भूमिका अद्वितीय है। आतंकवाद के खिलाफ भारत किसी हद तक जाएगा।”
नड्डा और खड़गे के बीच तीखी नोकझोंक
बहस के दौरान नेता सदन जेपी नड्डा ने खड़गे पर कटाक्ष करते हुए कहा कि, “आप इतने भावावेश में बह गए कि प्रधानमंत्री की गरिमा का ध्यान भी नहीं रखा। हमारे बड़े वरिष्ठ नेता हैं, अनुभव है, लेकिन जो शब्द इस्तेमाल किए गए वे उनके स्तर से नीचे थे। प्रधानमंत्री दुनिया के सबसे लोकप्रिय नेता हैं। पार्टी और देश के लिए गौरव का विषय हैं। लेकिन आप इतने पार्टी से जुड़े हैं कि देश गौड़ हो जाता है और मेंटल बैलेंस खोकर इस तरह की बातें कहते हैं।”
इस बयान पर विपक्ष ने सदन में जोरदार हंगामा शुरू कर दिया। हंगामे को देखते हुए नड्डा ने सफाई देते हुए कहा, “मैं अपने शब्द वापस लेता हूं। मानसिक असंतुलन नहीं, इसे भावावेश कर दीजिए। अगर खड़गे जी की भावनाओं को ठेस पहुंची है तो मैं माफी मांगता हूं।”
खड़गे का पलटवार
नड्डा की माफी के बावजूद खड़गे ने पलटवार करते हुए कहा, “उनके मंत्री मेंटल बैलेंस खोकर बोलते हैं। नड्डा जी ने मुझे ‘मेंटल’ कहा है, मैं इसे छोड़ने वाला नहीं हूं।”
सदन में इस पूरे घटनाक्रम के दौरान लगातार शोर-शराबा होता रहा और कार्यवाही कुछ देर के लिए बाधित भी रही।